महाराष्ट्र के उद्योग और Marathi भाषा मंत्री उदय सामंत ने रविवार को तमिलनाडु सरकार से इस भवन के निर्माण के लिए एक एकड़ जमीन उपलब्ध कराने की अपील की।
थंजावुर पैलेस परिसर स्थित संगीत महल में आयोजित तमिलनाडु मराठा संगम के सिल्वर जुबली कार्यक्रम में बोलते हुए उदय सामंत ने कहा,
“अगर तमिलनाडु सरकार एक एकड़ जमीन देती है, तो महाराष्ट्र सरकार अपने खर्चे पर ‘महाराष्ट्र भवन’ का निर्माण करेगी।”
मंत्री ने कहा कि Marathi और तमिल समुदायों के बीच ऐतिहासिक सांस्कृतिक संबंध रहे हैं, और यह एकता आगे भी मजबूत होनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि यह भवन तमिलनाडु में रह रहे मराठी भाषी लोगों के लिए एक सांस्कृतिक और सामाजिक केंद्र के रूप में काम करेगा।
कार्यक्रम में नेताओं की मौजूदगी और संदेश
कार्यक्रम का शुभारंभ तमिलनाडु के उच्च शिक्षा मंत्री गोवी चेझीयान ने पारंपरिक दीप जलाकर किया।
उन्होंने कहा,
“Marathi और थंजावुर के लोग अलग नहीं हैं। मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन हमेशा राज्य में समुदायों के बीच एकता को बढ़ावा देते हैं। यह ऐतिहासिक महल अब सभी नागरिकों के लिए खुला है ताकि हर कोई यहां सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आनंद ले सके।”
कार्यक्रम की अध्यक्षता तमिलनाडु मराठा संगम के अध्यक्ष वी. विश्वजीत गाड़े राव ने की।
इस अवसर पर मंत्री गोवी चेझीयान और उदय सामंत ने मिलकर संघ की सिल्वर जुबली प्रतीक चिन्ह (एम्बलम) का विमोचन किया।
दोनों राज्यों के बीच एकता का प्रतीक
इस समारोह में थंजावुर सांसद एस. मुरासोली, महाराष्ट्र के खानापुर विधायक सुहास बाबर,
महाराष्ट्र के तमिलनाडु मराठा संगम प्रतिनिधि करण संभाजी राव खलाटे,
थंजावुर विधायक टी.के.जी. नीलामेगम, मेयर एस. रामनाथन,
और थंजावुर पैलेस के उत्तराधिकारी डी. शिवाजी राजे टी. भोसले और बाबाजी राजे भोसले भी मौजूद रहे।
यह आयोजन न सिर्फ सांस्कृतिक एकता का प्रतीक बना, बल्कि Marathi और तमिल समुदायों के बीच भाषाई और ऐतिहासिक रिश्तों को नए आयाम देने का अवसर भी साबित हुआ।
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